उत्तर प्रदेश

श्री राम का जन्म अनेक कारणों से हुआ-हेमंत तिवारी

श्री राम का जन्म अनेक कारणों से हुआ-हेमंत तिवारी

सोनभद्र:जनपद मुख्यालय रॉबर्ट्सगंज के क्लब में आयोजित श्री रामचरितमानस नवाह पाठ महायज्ञ समिति द्वारा आयोजित रामचरितमानस कथा की सत्संग सभा में गोरखपुर से आए प्रवचनकर्ता हेमंत तिवारी ने रामचरितमानस की महिमा, सती प्रसंग, शिव पार्वती विवाह, शिव-पार्वती संवाद, नारद का अभिमान और माया का प्रभाव, शिवगणो एव भगवान को शापऔर नारद मोह भंग आदि प्रसंगों का संगीतमय गायन करते हुए श्री राम जन्म उत्सव पर प्रकाश डालते हुए कहा कि- राम जन्म के हेतु अनेका।
परम विचित्र एक ते एका।।
राम जन्म के कारण अनेक हैं पर नारद जी द्वारा दिए गए शाप से भवानी पार्वती चकित हो गई भगवान से प्रश्न किया कि भगवान नारायण ने ऐसा कौन सा अपराध कर दिया जिससे नारदजी को शाप देना पड़ा । भगवान ने बताया कि काम को भस्म करने के कारण नारद जी को अहंकार रूपी मोह उत्पन्न हो गया। जिससे नारायण ने मोहिनी का रूप बनाकर नारदका मोह को भंग किया इसी कारण से नारदजी ने भगवान को शाप दे डाला।
राम जन्म उत्सव पर प्रवचन प्रवचनकर्ता ने सोहर गीत गाकर भक्तजनों को मंत्रमुग्ध कर दिया।
पुत्र जन्म की तुलना प्राचीन काल से आज करते हुए कहा कि आज के जमाने में जब पुत्र पैदा होता है तो माता पिता उसको सीएम,डी एम, पीएम आदि बनने का स्वप्न देते हैं । लेकिन चक्रवर्ती महाराजा दशरथ ने अपने पुत्र को राजा बनाने का स्वप्न देखा और राज्याभिषेक की तैयारी में लग गए।
राम जानकी विवाह के कथा की चर्चा करते हुए उन्होंने कहा कि-
आदिकाल से विवाह संस्कार में मनोविनोद की परंपरा रही है और इसके साथ मनोरंजन एवं ज्ञान भी वर एवं वधू पक्ष के युवा- युवतियों को प्राप्त होता है, भगवान श्री राम के विवाह के समय मिथिला की स्त्रिया (श्री राम की साली सरहज) श्रीराम से हंसी ठिठोली किया और तमाम प्रकार के उद्बोधनो से संबोधित करते हुए विवाह संस्कार के अवसर पर गाए जाने वाले गारी गीत भी गाया था, भारतीय लोक संस्कृति में प्रचलित लोक गीतों में हुआ है।
वरमाला, विवाह के अवसर पर लगाए जाने वाले फेरे, कोहबर, विदाई, आदि अवसरों का भावपूर्ण, गीतात्मक संगीतत्मक व्याख्यान देकर मानस पंडाल में उपस्थित भक्तजनों को मंत्रमुग्ध कर दिया।

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