उत्तर प्रदेश

राजनीतिक दुर्भावना से न हो विपक्षी दलों के नेताओं का उत्पीडन

राजनीतिक दुर्भावना से न हो विपक्षी दलों के नेताओं का उत्पीडन

जनपद के विपक्षी दलों ने डीएम को भेजा पत्रक

सीओ दुद्धी को तत्काल हटाया जाए, एसओ विंडमगंज पर हो कार्यवाही  

सोनभद्र(अशोक कनोजिया)भाजपा नेताओं के इशारे पर विपक्षी दलों के नेताओं को फर्जी मुकदमों में फंसाने पर तत्काल प्रभाव से रोक लगाने के लिए आज जनपद के राजनीतिक दलों और सामाजिक संगठनों ने आपसी सहमति से राजनीतिक प्रस्ताव लेकर जिलाधिकारी को संबोधित पत्रक ईमेल द्वारा भेजा. पूर्व मंत्री विजय सिंह गोंड़, समाजसेवी अजय शेखर, स्वराज अभियान नेता दिनकर कपूर, सपा पूर्व जिलाध्यक्ष श्याम बिहारी यादव, राहुल प्रियंका कांग्रेस सेना प्रदेश महामंत्री राजेश द्विवेदी, राष्ट्रीय लोकदल जिलाध्यक्ष संतोष पटेल, सीपीएम जिला सचिव नंदलाल आर्या, सीपीआई जिला सचिव आर. के. शर्मा, सपा पूर्व जिला महासचिव जुबेर आलम, मजदूर किसान मंच नेता कृपाशंकर पनिका, आल इंडिया पीपुल्स फ्रंट नेता कांता कोल, अध्यक्ष पूर्वाचंल नव निर्माण सेना श्रीकांत त्रिपाठी अध्यक्ष द्वारा भेजे इस पत्रक की प्रतिलिपि आवश्यक कार्यवाही के लिए अपर मुख्य सचिव गृह, डीजीपी, अपर डीजी पुलिस वाराणसी, कमिश्नर व आईजी मिर्जापुर और एसपी सोनभद्र को भी भेजी गयी है.पत्रक में कहा गया कि बालू खनन माफिया भाजपा नेता और पुलिस प्रशासन के गठबंधन की मिलीभगत से हुई पकरी निवासी मृतक रामसुंदर गोंड़ की हत्या की एफआईआर दर्ज कराने और प्रधान, नाबालिग बच्चो समेत ग्रामीणों को फर्जी मुकदमे में फंसा कर उत्पीड़न करने का सवाल जनपद का राजनीतिक सवाल बनने से परेशान भाजपा नेताओ के इशारे पर इसमे पहल करने वालों को ही निशाने पर लिया जा रहा है. भाजपा के राज्यसभा सांसद द्वारा दिए बयान ने इस कोशिश को सामने ला दिया है. इससे पहले भी उभ्भा कांड़ में तत्कालीन डीएम से मिलकर अपनी समस्या बताने वाले लोगों पर ही पुलिस ने गुंड़ा एक्ट कायम किया था। जिस पर भाजपा सरकार व प्रशासन ने अपनी गलती स्वीकार करते हुए ऐसा करने वाले पुलिस कर्मियों व प्रशासनिक अधिकारियों को निलम्बित करते हुए मुकदमा कायम कर कड़ी कार्यवाही की थी।

पत्रक में कहा गया कि रामसुंदर गोंड़ के मामले में यह भी संज्ञान में आया है कि आपसे और एसपी को पत्रक देकर घर लौटे मृतक के पुत्र लाल बहादुर गोंड़ को एसओ विढ़मगंज ने रात में थाने में बुलाकर बुरी तरह धमकाया और केस वापस लेने को कहा है। डीएम से मांग की गयी कि पुन: उभ्भा जैसी गलती न दोहराई जाये इसलिए एसपी को किसी भी प्रकार के उत्पीड़न पर रोक लगाने का निर्देश दिया जाये और राम सुदंर गोंड़ की हत्या में मुख्य भूमिका अदा करने वाले सीओ दुद्धी को निष्पक्ष जांच व न्यायहित में तत्काल हटाया जाए और एसओ विढ़मगंज के विरूद्ध कड़ी कार्यवाही की जाए।पत्रक में कहा गया कि जनपद की कानून व्यवस्था और लोकतांत्रिक स्थिति बेहद चिंताजनक है। जनपद के आदिवासियों, दलितों व समाज के कमजोर तबकों पर आए दिन हमले हो रहे है, उनकी हत्या हो रही है, फर्जी मुकदमों में जेल भेजा जा रहा है। कई घटनाओं को संज्ञान में लाते हुए कहा गया कि पिछले वर्ष 9/01/2019 ब्रह्मोरी हर्रा बालू साइट पर ग्रामीणों और खननकर्ताओं के बीच अवैध खनन का विरोध करने पर झड़प हुई थी और ग्रामीणों समेत पत्रकार अशोक कन्नौजिया पर फर्जी मुकदमें कायम किये गए थे अशोक कनौजिया को घटनास्थल पर 9:00 बजे दिखाया जाता है और अशोक कनौजिया उस वक्त अल्ट्राटेक सीमेंट फैक्ट्री के अंदर मीटिंग में अधिकारियों के साथ रहते हैं जबकि अल्ट्राटेक सीमेंट फैक्ट्री से घटनास्थल की दूरी 25 किलोमीटर दूर है सीसीटीवी फुटेज अधिकारियों का लिखित बयान के बाद भी जबरदस्ती अशोक कनौजिया को फसाया गया और कुछ को जेल भी भेजा गया था. इस मामले की तत्कालीन डीएम ने मजिस्ट्रेटी जांच करायी थी लेकिन उस जांच की रिपोर्ट को आज तक सार्वजनिक नहीं किया गया और न ही किसी को दण्ड़ित किया गया। इसलिए खनन माफियाओं द्वारा कराई गई इस हत्या के मामले की जाँच पूरी होने के बाद इसके दोषियों को दण्डित किया जाये. पत्रक में कहा गया कि यह लोकतंत्र के लिए शुभ है कि जनता की समस्याओं को आप समेत उच्चाधिकरियों के संज्ञान में लाया जाये ताकि शांति व्यवस्था कायम रहे और जनसहयोग से बेहतर प्रशासनिक काम चल सके और पीड़ित को न्याय मिल सके.

Related Articles

Leave a Reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

Back to top button